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महाकुंभ में बना स्वच्छता का वर्ल्ड रिकॉर्ड

महाकुंभ में स्वच्छता का विश्व कीर्तिमान बन गया। गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड की टीम की मौजूदगी में 15 हजार कर्मचारियों ने सफाई कर रिकॉर्ड बनाया। मेला प्रशासन ने 6 साल बाद अपना ही रिकॉर्ड तोड़ दिया। मेला प्रशासन की ओर से 14 फरवरी को नदी स्वच्छता का रिकॉर्ड बना गया था। उस दिन 300 कर्मचारियों ने नदी की सफाई का रिकॉर्ड बनाया था। इस तरह से महाकुंभ 2025 में दूसरा विश्व कीर्तिमान बना। खास यह कि मेला प्रशासन ने गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड की टीम की मौजूदगी में अपने ही विश्व रिकॉर्ड को तोड़ा। कुंभ 2019 में 10 हजार सफाई कर्मचारियों ने संगम तथा अन्य स्थानों पर एक साथ स्वच्छता अभियान चलाने का रिकॉर्ड बनाया था।

पूर्व निर्धारित स्थानों पर सेक्टर 2 में हेलीपैड पार्किंग, नागवासुकि जोन के सेक्टर 7 में भरद्वाज घाट, झूंसी जोन में ओल्ड जीटी और हरिश्चंद्र घाट तथा अरैल जोन के अंतर्गत चक्रमाधव घाट पर सफाई अभियान चलाया गया। मेला प्रशासन की ओर से इन चारों स्थानों पर 15 हजार सफाई कर्मियों के माध्यम से एक साथ स्वच्छता अभियान चलाने की योजना बनाई गई थी। इस दौरान गिनीज बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड की ओर से आब्जर्वर ऋषिनाथ मौजूद रहे।

10 हजार लोगों के हैंडप्रिंट लेने का बनेगा रिकॉर्ड
महाशिवरात्रि से एक दिन पहले यानी मंहलवार को आठ घंटे में 10 हजार लोगों के हैंड प्रिंट लिए जाएंगे, जो विश्व रिकॉर्ड होगा। इसके लिए गंगा पंडाल पर कैनवास लगाकर लोगों के हैंड प्रिंट लिए जाएंगे। मेला प्रशासन इसके माध्यम से अपना ही रिकॉर्ड तोड़ेगा। कुंभ-2019 में साढ़े सात हजार लोगों के हैंड प्रिंट लिए जाने का रिकॉर्ड बनाया गया था।

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